MP News: फसल की कटाई के उपरांत नरवाई में आग लगाए जाने पर दंडात्मक कार्रवाई की जाएगी। कलेक्टर एवं जिला दंडाधिकारी श्री नरेंद्र कुमार सूर्यवंशी ने नरवाई जलाने पर प्रतिबंध लगाया है। उन्होंने कहा कि गेहूं की कटाई के उपरान्त खेतों में दाने के अतिरिक्त अत्याधिक मात्रा में डंठल या नरवाई एवं भूसा खेत में ही रह जाते है, उन्हें किसान भाई कचरा समझकर जला देते है।
जिससे आसपास की खेतों में आग लगने का खतरा तो बना ही रहता है साथ ही भूमि की उर्वरा शक्ति नष्ट हो जाती है। फसल के अवशेषों में आग लगाने से हानिकारक गैसे तथा धुआं उत्पन्न होता है, जो मानव स्वास्थ्य एवं पर्यावरण तथा कृषि भूमि में रहने वाले सूक्ष्म लाभदायक जीवाणुओं के जीवन पर प्रतिकूल प्रभाव डालता है। साथ ही मृदा में विद्यमान माईक्रोफ्लोरा एवं माईक्रोफोना को भी नष्ट कर देता है। जिससे मृदा की उर्वरक एवं उत्पादकता क्षमता भी प्रभावित होती है।
फसल अवशेष को जलाना न सिर्फ किसानों के लिये हानिकारक है अपितु प्रकृति, पर्यावरण, भूमि भी प्रदूषित होती है। आगजनी की स्थिति से जान माल का नुकसान होता है। किसान भाई अवशेषों को जलाने के बजाएं उसको रोटावेटर, डिस्कहेरो के माध्यम से वापस भूमि में मिला दे, जिससे भूमि उपजाऊ होंगी एवं कृषि में लाभदायक या मित्र जीवाणुओं को बचाया जा सकता हैं। परिणामस्वरूप किसान भाइयों को आगामी फसल के उत्पादन में वृद्धि प्राप्त होगी।
किसानों द्वारा गेहूं की नरवाई जलाने की घटनाओं को नियंत्रित किये जाने के निर्देश माननीय नेशनल ग्रीन टिब्यूनल के निर्देश क्रम मे Air (Prevention & control of Pollution ) Act 1981 के अंतर्गत प्रदेश में फसलों विशेषत: धान एवं गेहूं की फसल कटाई उपरान्त फसल अवशेषों को खेतों में जलाए जाने को प्रतिबंधित किया गया है। उपरोक्त स्थिति को ध्यान में रखते हुए कोई किसान भाई अपने खेतों में नरवाई जलाते है, तो पर्यावरण नियंत्रण अधिनियम 1981 की धारा 19,(5) का उल्लंघन माना जायेगा। जिसे तत्काल प्रभाव से सम्पूर्ण मध्यप्रदेश में लागू किया गया है।
MP News: नरवाई जलाने पर लगेगा जुर्माना, होगी दंडात्मक कार्रवाई
निर्देशों का उल्लंघन किये जाने पर व्यक्ति/निकाय को नोटिफिकेशन प्रावधान अनुसार पर्यावरण क्षतिपूर्ति अथवा जुर्माना राशि निम्नानुसार देना होगा।
1. ऐसे छोटे कृषक जिनके पास दो एकड़ से कम जमीन है उनको 2500/- प्रत्येक घटना अनुसार जुर्माना देना होगा।
2. ऐसे कृषक जिनके पास में दो एकड़ से पांच एकड़ तक जमीन है उनको 5000/- प्रत्येक घटना अनुसार जुर्माना देना होगा।
3. पांच एकड़ से अधिक भूमि वाले कृषकों को 15000/ प्रत्येक घटना अनुसार जुर्माना देना होगा।
कलेक्टर एवं जिला दण्डाधिकारी जिला बैतूल द्वारा 14.03.2024 को दंड प्रक्रिया संहिता 1973 की धारा-144 के तहत नरवाई में आग लगाने पर प्रतिबंध लगाया गया है तथा ग्रामों में डोंडी पिटवा कर कृषक जन को इस संबंध में जागरूक किया जा रहा है ।
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